केंद्र सरकार के लिए सेना में भर्ती का नया फार्मूला अग्निपथ, आग का दरिया ही साबित हुआ। घोषणा के बाद से शुरू हुआ बवाल लगातार जारी है। चर्चा यह उठने लगी कि सरकार को इसे वापस ले लेना चाहिए। लेकिन रविवार को रक्षा मंत्रालय ने साफ कर दिया कि यह योजना वापस नहीं होगी। दूसरी ओर केंद्र के मोदी सरकार की इस योजना को उन राज्यों ने आगे बढ़कर समर्थन दिया है, जहां BJP सरकार में है।
योगी ने कर दिया ऐलान
अग्निपथ योजना के तहत भर्ती होने वाले अग्निवीरों को रिटायरमेंट के बाद यूपी की पुलिस में प्राथमिकता दी जाएगी। उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने ऐलान कर दिया है कि चार साल की सेवा के बाद रिटायर होने वाले अग्निवीरों को UP Police में प्राथमिकता के आधार पर नौकरी दी जाएगी। ऐसी ही घोषणा कर्नाटक सरकार ने भी की है।
उत्तराखंड में अलग प्लान
उत्तरप्रदेश और कर्नाटक की भाजपा सरकारों के साथ मध्यप्रदेश सरकार ने भी अग्निवीरों को राज्य की पुलिस में नौकरी में प्राथमिकता का भरोसा दिया है। तो दूसरी ओर उत्तराखंड सरकार की अलग योजना है। CM पुष्कर सिंह धामी ने इस मामले में कहा है कि अग्निवीरों को रिटायरमेंट के बाद उत्तराखंड के आपदा प्रबंधन विभाग में नौकरी में प्राथमिकता दी जाएगी।
असम-हरियाणा भी नहीं है पीछे
भाजपा शासित बड़े राज्यों की तरह छोटे राज्य भी अग्निपथ योजना के समर्थन में एक कदम आगे निकल रहे हैं। असम सरकार ने अग्निवीरों को असम आरोग्य निधि में प्राथमिकता की घोषणा कर दी है। तो हरियाणा सरकार ने सरकारी नौकरियों में वरीयता का वादा दिया है। अरुणाचल प्रदेश की भाजपा सरकार ने भी स्पष्ट कर दिया है कि राज्य की सब्सिडी योजनाओं को अग्निवीरों को प्राथमिकता दी जाएगी।
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