बक्सर के डुमरांव थाना क्षेत्र के बनकट गांव में डायरिया का प्रकोप फैल गया है। शनिवार शाम से ही मरीजों की संख्या में तेजी से वृद्धि हुई और रविवार तक पूरा गांव दहशत में था। इतनी बड़ी संख्या में मरीजों के आने से अनुमंडल अस्पताल में अफरा-तफरी मच गई।
अस्पताल में मरीजों की भीड़: ओटी तक पहुंचा इलाज
अस्पताल के सभी वार्ड, गलियारे और यहां तक कि आपातकालीन कक्ष का ओटी भी मरीजों से भर गया था। अस्पताल प्रबंधन को सभी स्वास्थ्य कर्मचारियों को बुलाना पड़ा। उपाधीक्षक डॉ. गिरीश कुमार सिंह और एसडीएम राकेश कुमार सहित कई अधिकारी रात भर अस्पताल में डटे रहे।
एक दर्जन बच्चों सहित 48 मरीज
लगभग 48 मरीज, जिनमें से एक दर्जन बच्चे थे, बनकट गांव से अस्पताल लाए गए। सभी मरीजों को ओआरएस, एंटीबायोटिक्स और अन्य आवश्यक दवाएं दी गईं। सोमवार को पीएचसी प्रभारी डॉ. आरबी प्रसाद के नेतृत्व में गांव में मेडिकल कैंप लगाया गया और लोगों को डायरिया से बचाव के उपाय बताए गए।
प्रशासन की सक्रियता
स्थिति को गंभीरता से लेते हुए प्रशासन ने तुरंत कार्रवाई शुरू कर दी। स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने गांव का दौरा किया और पानी की जांच करवाई। साथ ही, लोगों को स्वच्छता बनाए रखने के लिए जागरूक किया गया।
क्या इस तरह के प्रकोप को रोका जा सकता था?
यह सवाल उठना स्वाभाविक है कि क्या इस तरह के प्रकोप को रोका जा सकता था। विशेषज्ञों का मानना है कि अगर समय रहते उचित कदम उठाए गए होते तो इस स्थिति से बचा जा सकता था।
आगे का रास्ता
सरकार को ग्रामीण क्षेत्रों में स्वास्थ्य सुविधाओं को बेहतर बनाने के लिए और अधिक कदम उठाने चाहिए। साथ ही, लोगों को स्वच्छता के महत्व के बारे में जागरूक करने के लिए व्यापक अभियान चलाने की आवश्यकता है।