BOKARO : राज्य में रोजगार नहीं मिलने के कारण झारखंड से आये दिन प्रवासी मजदूर दूसरे राज्य काम करने जाते हैं। काम के दौरान या किसी बीमारीवश वहां उनकी मौत भी हो जाती है। परिवार के लोग इतने गरीब होते हैं कि शव लाने के लिए भी एंबुलेंस का भाड़ा नहीं जुटा पाते हैं जिस कारण ट्रेन के माध्यम से लाना पड़ता है जो तीन दिन बाद शव आता है। ऐसे में परिवार के लोग शव आने का इंतजार करते रहते हैं।
आज फिर एक प्रवासी मजदूरों की मौत मुंबई में हो गयी। मजदूरों की मौत का सिलसिला थमता नजर नहीं आ रहा है। गुरुवार की रात चंद्रपुरा थाना क्षेत्र अंतर्गत तरंगा के मजदूर धर्मदेव तुरी की मुम्बई के वाशी में ईलाज के दौरान मौत हो गयी। वह बोकारो जिले के चंद्रपुरा थाना क्षेत्र अंतर्गत तरंगा निवासी साधु तुरी के 35 वर्षीय पुत्र धर्मदेव तुरी जो मुम्बई के बेलापुर के ओपेन एक्सप्रेस होटल में काम करता था। उनकी गुरूवार शाम को अचानक तबीयत खराब हो गयी। जिसे आनन-फानन में वाशी स्थित एनएमएमसी जेनरल हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया। जहां उसी रात 9 बजे ईलाज के दौरान उनकी मौत।
शव को मुंबई से ट्रेन के माध्यम से रविवार को तरंगा पंचायत स्थित घर लाया गया। शव घर पहुँचते ही परिजनों में कोहराम मच गया। मामला मंत्री बेबी देवी के प्रखंड क्षेत्र का ही था। घटना की सूचना मिलते ही झारखंड सरकार के उत्पाद एवं मद्य निषेध मंत्री बेबी देवी, स्थानीय मुखिया प्रवीण पांडेय, पंसस प्रमोद महतो ने मृतक के घर पहुँचकर परिजनों को सांत्वना दी। मंत्री बेबी देवी ने कहा कि सरकार से मिलने वाले सभी तरह के लाभ दिलाए जाएंगे। साथ ही श्राद्ध क्रम के लिए मैं अपनी ओर से मदद करूंगी।
मृतक अपने पीछे पत्नी सोनी देवी, पुत्र आकाश तुरी 14 वर्ष, पुत्री पुनम कुमारी12 वर्ष, और पुत्र विवेक कुमार 8 वर्ष अपने पीछे छोड़ गया। धर्मदेव तुरी घर का एकमात्र कमाने वाला था। इन्हीं के बदौलत पूरा परिवार चल रहा था। इनके निधन के पश्चात पूरा घर बिखर सा गया है। इस दौरान सुरेश महतो भोला तुरी, हीरालाल महतो, लीलू महतो, सुरेश तुरी, त्रिलोचन पांडेय के अलावे काफी संख्या में लोग पहुँचे थे।