आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत का बयान आया है जिसमें उन्होंने कहा है कि वास्तविक सेवक वह है जिसमें अहंकार नहीं आता। इसके साथ ही मणिपुर का मुद्दा उठाते हुए उन्होंने कहा कि मणिपुर को शांति का इंतजार है। उनके इस बयान का राजद नेता तेजस्वी यादव ने समर्थन किया है। तेजस्वी ने कहा संघ प्रमुख ने बिल्कुल ठीक कहा है लेकिन थोड़ी देर से बोले हैं।
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मुसलमानों से नफरत करते हैं मोदी
तेजस्वी ने कहा कि प्रधानमंत्री तो हमेशा से मौन ही रहे हैं। केवल मणिपुर की घटना पर ही नहीं बल्कि किसानों पर जब हमला किया गया, महिला पहलवानों का शोषण हुआ या बैंगलुरू में तीन हजार महिलाओं के साथ शोषण हुआ उस वक्त भी प्रधानमंत्री मौन रहे हैं। मोहन भागवत ने ठीक कहा है लेकिन देर से बोले हैं। मोदी कैबिनेट में एक भी मुसलमान को जगह नहीं मिलने पर तेजस्वी ने कहा कि इससे साफ दिख रहा है कि मुसलमानों के प्रति उनके मन में कितनी नफरत है। हमलोगों का तो मानना है कि सभी को बराबर मान-सम्मान मिलना चाहिए और हर किसी को आगे बढने का मौका मिलना चाहिए।
मंत्रालय बंटवारें को लेकर तेजस्वी ने कहा कि एनडीए के 30 सांसद चुनकर गए हैं। पिछली बार भी 39 सासंद चुने गए थे लेकिन बाहिर को कुछ भी नहीं मिला था लेकिन इस बार बिहार निर्णायक भूमिका में है तो कम से कम बिहार को विशेष राज्य का दर्जा मिले। देशभर में जातीय गणना कराया जाए इसके साथ ही जो अन्य जरूरी मांगे हैं उसे पूरा कराएं। बिहार के जो सांसद मंत्री बने हैं कम से कम उनसे तो यह उपेक्षा रखी जानी चाहिए कि वह बिहार के लिए आवाज उठाएंगे।